
नई दिल्ली
भारत के ग्रामीण इलाकों में भी आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) की एंट्री हो चुकी है। बचपन से ही बच्चे AI का इस्तेमाल और महत्व समझें, इसके लिए AI की एंट्री आंगनबाड़ी के जरिए हुई है। महाराष्ट्र के नागपूर जिले की हिंगना तहसील के वडधामना गांव में AI पावर्ड आंगनबाड़ी केंद्र की शुरुआत की गई है। यह नागपूर से करीब 18 किलोमीटर दूर है। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इस आंगनबाड़ी केंद्र का उद्घाटन किया था। इसमें ऐसी-ऐसी सुविधाएं हैं जो प्राइवेट स्कूलों भी टक्कर दे सकती हैं।
AI आंगनबाड़ी में ये सुविधाएं
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, इस AI आंगनबाड़ी को नागपुर जिला परिषद की 'मिशन बाल भरारी' पहल के तहत शुरू किया गया है। यहां के बच्चे पहले बाकी आंगनबाड़ियों की तरह ही स्लेट और चॉक से पढ़ा करते थे, लेकिन अब डिजिटल क्लासरूम आ चुका है। यहां पर वर्चुअल रियलिटी हेडसेट, AI से लैस स्मार्टबोर्ड, टैबलेट और इंटरैक्टिव डिवाइस से बच्चे पढ़ेंगे, उनकी क्रिएटिविटी भी बढ़ेगी। पहले यहां पर बच्चों की संख्या 10 के आसपास होती थी, लेकिन अब बच्चे डबल हो गए हैं, संख्या 25 तक भी पहुंच गई है।
बच्चों की परफॉर्मेंस डिजिटल डिवाइसेज में रिकॉर्ड होगी
बच्चों के लिए ये बिल्कुल नया एक्सपीरियंस है। स्मार्ट क्लासरूम में बैठकर पढ़ना उन्हें बोर नहीं करता है। हर क्लास में स्लो और फास्ट लर्नर्स होते हैं, उनके हिसाब से ही यहां पर लेसन पढ़ाए जा थे हैं। यहां पर बच्चे ड्रॉइंग भी स्मार्ट डिवाइस पर करते हैं। उनका परफॉर्मेंस भी डिजिटल डिवाइसेज में रिकॉर्ड होता है। इससे बच्चों की इमेजिनेशन बढ़ेगी, वे क्रिएटिव होंगे और पढ़ाई में उनका मन लगने लगेगा।
आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को ट्रेनिंग मिली
वडधामना गांव की इस आंगनबाड़ी में Wi-Fi और CCTV कैमरा भी लगे हैं। यहां पर लगे डिवाइसेज की सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए कैमरा लगे हैं और Wi-Fi इसलिए लगा है, ताकि डिवाइस इंटरनेट से कनेक्टेड रहें। आंगनबाड़ी में काम रहे कार्यकर्ताओं को खास तरह की ट्रेनिंग दी गई है, ताकि वे स्मार्ट डिवाइस और AI टूल्स का इस्तेमाल कर सकें।
बच्चों की हेल्थ भी ट्रैक करेगा AI
यहां AI और स्मार्ट डिवाइसेज की मदद से केवल पढ़ाई ही नहीं हो रही, बल्कि बच्चों के पोषण और विकास को भी मॉनिटर किया जा रहा है। सरकार के 'पोषण ट्रैकर' प्लेटफॉर्म को जोड़ा गया है, इससे बच्चों के खाने और फिजिकल हेल्थ का रियल टाइम डेटा मिल सकेगा। नतीजतन, बच्चों का समग्र विकास सुनिश्चित होगा। यहां पर शिक्षा और स्वास्थ्य, दोनों के लिए AI मददगार होगा।
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